जबलपुर: दीपक सक्सेना की विदाई, राघवेंद्र सिंह को जबलपुर की कमान, प्रीति यादव को मिला दोहरा तोहफा, राम प्रसाद बने नए नगर निगम कमिश्नर,चहेतों को बचाने में निपट गए कलेक्टर!

जबलपुर। शासन ने सोमवार देर रात बड़ा प्रशासनिक फेरबदल कर कलेक्टर दीपक सक्सेना को हटा दिया। एफआईआर दर्ज कराने और निजी स्कूल संचालकों के साथ वेयर हाउस पर शिकंजा कसने के लिए मशहूर रहे सक्सेना पर आरोप लगते रहे कि वे चुनिंदा मामलों में सख्ती दिखाते रहे, पर अपने चहेतों को बचाने में निपटते रहे। यही “चहेते बचाओ नीति” उनकी विदाई का सबसे बड़ा कारण बनी।
नए कलेक्टर राघवेंद्र सिंह-
सक्सेना की जगह अब 2013 बैच के आईएएस राघवेंद्र सिंह जो अब तक आगर मालवा कलेक्टर थे उनको जबलपुर की कमान सौंपी गई है। जारी तबादला आदेश यह स्पष्ट करता है कि यह बदलाव केवल रूटीन प्रक्रिया नहीं बल्कि एक कड़ा संदेश है। शासन यह जताना चाहता है कि अब अफसर यदि प्रभावशाली रसूखदारों को बचाने का खेल खेलेंगे तो वे जिलों की कुर्सी पर टिक नहीं पाएंगे।
प्रीति यादव, अवार्ड और प्रमोशन एक ही दिन-
इस फेरबदल की सबसे चर्चित चेहरा बनीं प्रीति यादव। सोमवार को ही उन्हें नगर निगम आयुक्त रहते हुए अवार्ड मिला और उसी दिन शासन ने उन्हें आगर मालवा कलेक्टर नियुक्त कर दिया। एक ही दिन में सम्मान और प्रमोशन यह किसी भी अफसर के लिए किसी बड़े तोहफे से कम नहीं।
राम प्रसाद अहिरवार बने नए नगर निगम कमिश्नर-
प्रीति यादव की जगह अब 2018 बैच के आईएएस राम प्रसाद अहिरवार जबलपुर नगर निगम के नए आयुक्त बनाए गए हैं। अहिरवार अब तक इंदौर जिला पंचायत के सीईओ थे और उन्हें तेजतर्रार अफसर माना जाता है। उनकी तैनाती के साथ ही नगर निगम में भी नई ऊर्जा और सख्ती की उम्मीद की जा रही है।
जनता में गहरी चर्चा
कलेक्टर दीपक सक्सेना ने अपने शुरुआती कार्यकाल में निजी स्कूल संचालकों पर कार्रवाई कर सख्त छवि बनाई थी। लेकिन समय बीतने के साथ ही उनका रुख ढीला पड़ा। कई मामलों में उन्होंने आम जनता की शिकायतें नजरअंदाज कीं, जबकि प्रभावशाली लोगों को राहत मिलती रही। यही कारण रहा कि जनता में असंतोष बढ़ता गया और सत्ता के गलियारों में भी उनका बचाव मुश्किल हो गया।
तबादले से उठी प्रशासन पर नजरें-
अब जबलपुर की जनता की निगाहें नए कलेक्टर राघवेंद्र सिंह पर हैं कि क्या वे वास्तव में बिना दबाव और प्रभाव के काम करेंगे या फिर वही पुराना ढर्रा चलेगा। वहीं प्रीति यादव का कलेक्टर बनना यह संदेश देता है कि मेहनती और पहचान बनाने वाले अफसरों को शासन से इनाम भी मिल सकता है।
नवागत कमिश्नर से जनता की उम्मीद-
नगर निगम की नई जिम्मेदारी संभालने वाले राम प्रसाद अहिरवार से भी शहरवासी उम्मीद लगाए बैठे हैं कि वे भ्रष्टाचार और लापरवाही पर लगाम कसेंगे और शहर की बड़ी समस्याओं पर ठोस काम करेंगे।