जबलपुर: नेताजी सुभाष चंद्र बोस मेडिकल अस्पताल को वार्ड बॉय के साथ एंबुलेंस चालको ने बनाया दलाली का अड्डा, दलालों की लापरवाही से युवक की मौत
मध्य प्रदेश में जबलपुर जिले के नेताजी सुभाष चंद्र बोस मेडिकल अस्पताल में मरीजों की दलाली करने वाले दलालों की लापरवाही के चलते एक और युवक की मौत का मामला सामने आया है जहां सड़क हादसे में घायल हुए युवक को इलाज के लिए मेडिकल अस्पताल लाना चाहिए था जहां घायल युवक को निजी अस्पताल में ले जाकर भर्ती कराया गया यहां उसकी मौत हो गई, सड़क हादसे में घायल युवक की मौत से यह साबित हो गया की मेडिकल अस्पताल में मरीजों की दलाली करने वाले दलालों पर कोई भी कार्यवाही नहीं होनी है क्योंकि मेडिकल अस्पताल के जिम्मेदार अधिकारी अपनी आंखों में पट्टी बांधे नजर आ रहे हैं,
सड़क हादसे में घायल युवक की मौत,
गढ़ा थाना क्षेत्र अंतर्गत दिनॉक 23-10-25 को हुए दर्दनाक सड़क हादसे में घायल युवक रिषभ राय उम्र 23 वर्ष निवासी धनवंतरी नगर थाना संजीवनी नगर को दिनॉक 22-10-25 की रात 8-30 बजे धनवतरी नगर रोड पर कार की पेड से टक्कर होने के कारण घायल हो गया था जिसे प्राइवेट एंबुलेंस से मेडिकल अस्पताल भिजवाया जा रहा था लेकिन एंबुलेंस चालक ने चंद पैसों के लिए उसे प्राइवेट अस्पताल पहुंचाया जहां उसका इलाज काफी देर तक चल जहां हालत गंभीर होने की वजह से उसे फिर वापस जबलपुर के मेडिकल अस्पताल रेफर कर दिया,दिनांक 23-10-25 को 11-20 बजे परिजनों द्वारा उपचार हेतु मेडिकल अस्पताल लाया गया जिसे चैक कर डाक्टर ने मृत घोषित कर दिया है। घटना की जानकारी लगने के बाद मौके पर पहुंची पुलिस ने पंचनामा कार्यवाही कर शव को पीएम हेतु भिजवाते हुये मर्ग कायम कर जांच में लिया गया।

मेडिकल के वार्ड बॉय के साथ एंबुलेंस चालक बने दलाल,
नेताजी सुभाष चंद्र बोस मेडिकल अस्पताल की प्राइवेट ठेका कंपनी UDS के कर्मचारी वार्ड बाय की दलाली में अहम भूमिका रहती है शहर बाहर से आने वाले घायल मरीजों को प्राइवेट अस्पताल पहुंचने में अहम भूमिका मेडिकल अस्पताल से शुरू होती है जो एंबुलेंस चालक और मालिकों के बीच जाकर खत्म होती है दोनों के बीच प्राइवेट अस्पतालों ले जाने को लेकर मेडिकल की कैजुअल्टी के अंदर एंबुलेंस चालक मरीजों को अपनी बातों में लगा लेते हैं और मेडिकल अस्पताल से मरीजों को प्राइवेट अस्पताल पहुंचाने का काम करते हैं अस्पताल पहुंचने के बाद होने अच्छी खासी रकम भी तुरंत मिल जाती है जिसके चलते उन मरीजों की जिंदगी के साथ एंबुलेंस चालक और मेडिकल के कर्मचारी खिलवाड़ करते नजर आ रहे हैं,
